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नावक के तीर

सन्  1993 में प्रकाशित डॉ• अनन्त का प्रथम दोहा-संग्रह ‘नावक के तीर‘ पुष्ट-परिपक्व और सुन्दर काव्य-कृति है। पंच प्रक्षेपणों में विभक्त ‘नावक के तीर‘ के सरलतम शैली में नवीन भाव-भंगिमाओं से आपूरित दोहे हिन्दीनुरागियों में समादृत है।

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